हरे कृष्णा???
हरि शरणं???
कृष्णामये सुप्रभात???
? मन ही मन भगवान से क्या बातें करें…क्या मांगे.?
?हे मेरे स्वामी.मेरी इच्छा कभी पूर्ण न हो सदैव आपकी ही इच्छा पूर्ण हो.क्योंकि मेरे लिए क्या सही है ये मुझसे बेहतर आप जानते हैं.
?हे नाथ!मेरे मन,कर्म और वचन से कभी किसी को भी थोड़ा सा भी दुःख न पहुँचे यह कृपा बनाये रखे.
?हे नाथ!मैं कभी न पाप करूँ, न होता देखूं सुनू और न ही कभी किसी के पाप का बखान करूँ.
?हे नाथ!शरीर के सभी इन्द्रियों से आठो पहर केवल आपके प्रेम भरी लीला का ही आस्वादन करता रहूँ.
?हे नाथ!प्रतिकूल से प्रतिकूल परिस्थिति में भी आपके मंगलमय विधान देख सदैव प्रसन्न रहूँ.
?हे नाथ!अपने ऊपर महान से महान विपत्ति आने पर भी दूसरों को सदैव सुख ही दिया करू.
?हे नाथ! अगर कभी किसी कारणवश मेरे वजह से किसी को दुःख पहुँचे तो उसी समय उससे हाथ जोड़कर क्षमा माँग लू.
?हे नाथ!आठो पहर रोम रोम से केवल आपके नाम का ही जप होता रहे.
?हे नाथ मेरे आचरण श्रीमद्भगवद्गीता और श्रीरामचरितमानस के अनुकूल हो.
?हे नाथ!हर एक परिस्थिति में मुझे आपके ही दर्शन हो।
हरि बोल???हे नाथ मैं आपको भूलूँ नहीं??? दीन बंधु दीनानाथ मेरी डोरी तेरे हाथ???
जय गोविंद?? जय गोपाल?? जय गौमाता??
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